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Thursday, October 10, 2013

युवा न बनाएं SachinTendulkar को अपना आदर्श, ऐसा कहना है दादा यानि कि सौरव गांगुली का. आखिर ऐसा क्यों कह रहे हैं गांगुली. पढ़ें पूरी खबर

सचिन को आदर्श न बनाएं युवाः सौरव गांगुली

सचिन और सौरव गांगुली ने मिलकर काफी क्रिकेट साथ खेली है. इन दोनों खिलाड़ियों भारत की बल्लेबाजी को एक नया आयाम दिया था. वनडे क्रिकेट में सचिन के साथ सलामी बल्लेबाजी कर चुके गांगुली ने सचिन के संन्यास पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि युवाओं को सचिन जैसा बनने के बारे में नहीं सोचना चाहिए.
गांगुली ने कहा, 'सचिन के साथ बहुत खेल चुका हूं. सचिन तेंदुलकर के बारे में आप बोलते जाएंगे तो पूरा दिन निकल जाएगा. मैं सभी युवा खिलाड़ियों से एक ही बात कहना चाहता हूं कि बहुत लोग ऐसे हैं जो टैलेंट लेकर पैदा हुए, सचिन उन सब से इसलिए अलग हैं, क्योंकि उन्होंने इस टैलेंट को इतनी महानता दी. जो क्रिकेट खेलना चाहते हैं वो सचिन का टैलेंट न देखें, क्योंकि वो टैलेंट हर किसी में नहीं हो सकता. क्रिकेट के लिए जो साधना उन्होंने की लोग उसे देखें.'
दादा के मुताबिक, 'सचिन मेरी नजर में सबसे बड़े खिलाड़ी हैं. उनको बहुत पास से देखा है मैंने तो मैं समझ सकता हूं कि मैं ऐसा क्यों बोल रहा हूं. मेरे दिल या दिमाग में कोई संदेह नहीं है इस बात को लेकर कि सचिन सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी हैं.'
गांगुली ने आगे कहा, 'सचिन ने संन्यास का फैसला बिल्कुल सही समय पर लिया. मुझे उम्मीद है कि सचिन अपना 200वां टेस्ट अपने होम ग्राउंड पर खेलें.'

 

सचिन तेंदुलकर ने किया टेस्ट क्रिकेट से संन्यास का ऐलान, कहा- मेरे लिए कठिन समय


टीम इंडिया के मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर ने टेस्ट क्रिकेट से संन्यास की घोषणा कर दी है. वेस्टइंडीज के खिलाफ टेस्ट सीरीज में अपना 200वां टेस्ट मैच खेलकर सचिन संन्यास लेंगे.
सचिन ने बीसीसीआई अध्यक्ष श्रीनिवासन को फोन पर जानकारी दी कि वो अपने 200वें टेस्ट के बाद संन्यास लेंगे. उन्होंने मुंबई में आखिरी टेस्ट मैच खेलने की इच्छा जताई है.

रिटायरमेंट के फैसले के बाद सचिन तेंदुलकर ने कहा कि ये उनके लिए कठिन समय है. उन्‍होंने कहा, 'मैंने 24 साल क्रिकेट को दिए. देश के लिए खेलना मेरा सपना था. बिना क्रिकेट जीवन की कल्‍पना भी मुश्किल है. यह मेरे लिए कठिन समय है. मैं अपने फैन्‍स और परिवार का शुक्रिया करना चाहता हूं.'

फिलहाल सचिन पहले ही वनडे इंटरनेशनल और टी-20 मैचों से संन्यास ले चुके हैं. बल्लेबाजी की अगर बात करें तो इंटरनेशनल क्रिकेट में शतकों का शतक बना चुके सचिन ने शायद की कोई रिकॉर्ड बाकी छोड़ा है.
सचिन अब तक 198 टेस्ट मैच खेल चुके हैं, इस दौरान उन्होंने 51 शतक जड़े हैं, हालांकि पिछले दो साल उनके लिए कुछ खास नहीं रहे हैं. उन्होंने अपना आखिरी टेस्ट शतक 2011 में साउथ अफ्रीका के खिलाफ जड़ा था.
 
सचिन के आंकड़े पर एक नजर
198 टेस्ट मैचों में सचिन तेंदुलकर ने 53.87 की औसत से 15,837 रन बटोरे. सचिन ने अपने 25 सालों के क्रिकेट करियर में सचिन ने 51 शतक और 67 अर्धशतक जड़े. सचिन का टेस्ट क्रिकेट में उच्चतम स्कोर 248 नॉट आउट है जो उन्होंने बांग्लादेश में 2004 में बनाया था.


सचिन ने टेस्ट क्रिकेट में 6 बार दोहरा शतक भी जड़ा है. अपने करियर में सचिन जहां 33 बार नॉट आउट रहे वहीं 14 बार वह खाता खोलने में नाकाम रहे. टेस्ट में सचिन अनियमित लेकिन बहुत उपयोगी गेंदबाज थे. हालांकि उनके कुल 45 विकेट बहुत कुछ नहीं कहते लेकिन जिन लोगों ने उन्हें गेंदबाजी करते हुए देखा है वो जानते हैं कि ये 45 विकेट तब लिए गए जब टीम को इसकी सबसे ज्यादा जरूरत थी. इसके अलावा सचिन तेंदुलकर ने टेस्ट क्रिकेट में 115 कैच भी लपके.